Tag: कविताएँ
पुस्तक समीक्षा -शंख पर असंख्य क्रंदन
जो देश और काल को परिभाषित कर दे, उसकी समस्याओं, तकलीफों, बेचैनियों को शब्द दे दे, दुःख सुख, युद्ध शांति, संयोग वियोग, मानवता नृशंसता...
स्त्रीनामा -भगवती प्रसाद द्विवेदी की स्त्री विषयक कविताएँ
आचार्य रामचन्द्र शुक्ल के अनुसार, "कविता से मनुष्य के भावों की रक्षा होती है | यह हमारे मनोभावों को उच्छ्वसित करके हमारे अंदर एक...
रिश्तों पर अर्चना त्रिपाठी जी की कविताएँ
अगर कहानी ठहरी हुई झील है तो कविता निर्झर | कौन सा भाव मानस की प्रस्तर भूमि पर किसी झरने के मानिंद कब प्रवाहित...
कल्पना मनोरमा की कविताएँ
कल्पना मनोरमा जी एक शिक्षिका हैं और उनकी कविताओं की खास बात यह है कि वो आम जीवन की बात करते हुए कोई न...